Always be my buddy relationship

As we grew up, my brothers acted like they didnt care, but I always knew they looked out for me and were there! *

i next reporter मल्टीनेशनल कम्पनी में काम करने वाले आकाश की अभी दो वीक पहले ही इंगेजमेंट हुई है. इस बात से पूरी फैमिली खुश है, लेकिन आकाश के छोटे भाई अमित की खुशी का तो ठिकाना ही नहीं. आखिर ऐसा हो भी क्यों न. घर में उसकी पसंद की हुई भाभी जो आने वाली हैं. आकाश और अमित में बचपन से ही बहुत पटती है. दोनों को एक-दूसरे की पसंद-नापसंद का इतना ख्याल है कि दोनों ही एक-दूसरे पर ब्लाइंड फेथ करते हैं. तभी तो अपनी मैरिज के लिए लड़की पसंद करने वाला इंपॉर्टेट डिसीजन भी आकाश ने अमित पर छोड़ दिया. आकाश-अमित के पैरेंट्स कहते हैं कि आज यह दोनों मैच्योर जरूर हो गए हैं और जॉब वाइस भी वेलसेटल्ड हैं, लेकिन आज भी ये दोनों जब घर पर एक साथ होते हैं तो बच्चों की तरह एक-दूसरे के साथ रिएक्ट करते हैं. एक-दूसरे की नयी शर्ट और जीन्स एक्सचेंज करने में इनका बचपना तो देखने वाला होता है, लेकिन जब बात केयर और कन्सर्न की आती है तो दोनों की समझदारी और मैच्योरिटी का कोई सानी नहीं. सच कहें तो इन दोनों की प्यार भरी यह नोंकझोंक ही इस ईट के मकान को घर बनाती है. वरना इन दोनों के ऑफिस चले जाने के बाद तो घर सिर्फ चारदीवारी लगता है. जिस दिन से आकाश की इंगेजमेंट हुई है, उस दिन से तो घर में और भी रौनक रहती है. अमित तो अपने छोटे होने का पूरा फायदा उठाता है.

आकाश को तो अपनी वुड बी शिखा से बात करने का ही मौका ही नहीं मिलता. अमित ही अपनी भाभी से गप-शप करता रहता है और आकाश की सारी कमियां लीक आउट करता है. आकाश भी उससे नाराज होने के बजाए आजकल उसपर और प्यार दिखाने लगा है. अमित के पैरेंट्स कहते हैं इस एज में भी इन दोनों में ऐसा प्यार है यह देखकर हमें बहुत खुशी मिलती है. वरना आजकल प्यार कम और दूसरी चीजें ज्यादा देखने को मिलती हैं. अमित और आकाश के प्यारे रिलेशन को देखकर तो बस एक ही बात ध्यान आती है- इस रिश्ते को किसी की नजर न लगे. यह सच है कि बढ़ते वक्त और बढ़ती उम्र की रिक्वायर्मेट के साथ-साथ सिबलिंग की एक-दूसरे पर डिपेंडेंसी कम होने लगती है. यंग एज पर पहुंचते-पहुंचते सिबलिंग्स की राहें कब अलग हो जाती हैं, उन्हें ही पता नहीं चलता. माना कि रिक्वायर्मेट ने आप दोनों की राहें अलग कर दी हैं. दोनों भाईयों का अलग करियर और प्रोफेशन है. दोनों की ही अलग एजूकेशनल फील्ड और जॉब फील्ड है. दोनों के ही अलग-अलग फ्रेंड सर्कल हैं, लेकिन यह मत भूलें कि आप दोनों में एक चीज कॉमन है वह है एक-दूसरे के लिए अनकंडीशनल लव और कन्सर्न. इसे शो करने में हेजिटेट मत करिए. माना कि अब आप मैच्योर हो गए हैं, लेकिन छोटी-छोटी खुशी के लिए कभी-कभी इस उम्र में बचपना भी दिखाना पड़ता है. इतने मैच्योर मत हो जाइए कि आपके रिश्ते में कुछ भी नेचुरल न रहे. सो बी नैचुरल विद योर ब्रदर. जितना अधिकार बचपन में उसपर जताते थे वैसा ही अभी भी बरकरार रखिए. डा. उन्नति कुमार कहते हैं कि यंग एजग्रुप की रिक्वायरमेंट काफी अलग होती है. इस एजग्रुप में ही ब्रदर्स अपना-अपना करियर बनाते हैं, नए रिश्तों से जुड़ते हैं. ऐसे में इस एजग्रुप में सिबलिंग्स के आपसी रिश्तों में थोड़ी दूरी आ जाना स्वाभाविक है. पर ध्यान रहे ये दूरियां दिल की नहीं होनी चाहिए.

वक्त के साथ-साथ मैच्योरिटी ठीक है, लेकिन रिश्तों में वैसा ही प्यार बना रहे इसके लिए आपको एक-दूसरे को वक्त देना बहुत जरूरी है. रिश्तों में गर्माहट बनाए रखने के लिए जरूरी है की उनपर अपना अधिकार जताया जाए. बचपन में एक पल भी जिसके बिना आप अकेले नहीं रहे हों, एक कदम भी जिसके बगैर आगे नहीं बढ़े हों उस क्लोज साथी की लाइफ में अगर कोई दूसरा हमसफर आ जाए तो इसका मतलब यह तो नहीं की आपका क्लोज साथी आपसे दूर हो गया है. छोटे होने पर रिश्तों के बीच किसी और के आ जाने से इन्सिक्योरिटी फील होती है. लेकिन अब तो आप बड़े हो चुके हैं और यह समझ सकते हैं की मैरिज या लाइफ पार्टनर की रिक्वायर्मेट कितनी होती है. अगर आपके भाई की लाइफ में कोई आ गया है तो कल आपकी लाइफ में भी कोई आयेगा. इन नए रिश्तों से क्या घबराना. इसलिए लाइफ में आए चेंजेज को हंसकर एक्सेप्ट करिए बल्कि इन नए रिश्तों के साथ ही इंज्वॉय करना सीखिए. एक-दूसरे पर वैसे ही राइट जताइए जैसे आप कल तक जताते थे. नए रिश्तों में भी आप यह अधिकार जताकर एक्स्ट्रा अफेक्शन पा सकते हैं. तो रेडी रहिए नयी-नयी खुशियों को गले लगाने के लिए. आज के समय में ये बातें मायने नहीं रखतीं कि पहले बड़े की ही शादी हो. आज प्रायोरिटीज और हालात पर डिपेंड करता है की किसकी मैरिज पहले हो. सुधाकर राव कहते हैं कि उनके छोटे भाई की पिछले साल ही शादी हुई है. उन्होंने भाई की शादी में खूब डांस किया. इस विंटर्स में उनकी शादी है और शादी की पूरी तैयारी छोटा भाई और उसकी वाइफ कर रहे हैं. आजकल तो यह सिचुएशन्स नॉर्मल हो गयी हैं. कई बार छोटे भाई को पहले लड़की पसंद आ जाती है, बड़े को नहीं. कई बार बड़ा भाई इसलिए पहले शादी करने को मना कर देता है कि वह पहले फाइनेंशियली स्ट्रांग होना चाहता है. वजहें जो भी हों, लेकिन आजकल हर कोई इन सिचुएशन्स को समझता है. इनके साथ ही कॉम्प्रोमाइज करता है और जी भर कर इंज्वॉय करता है. छोटे भाई के लिए बड़ा भाई एक गाइड की तरह होता है, लेकिन जब बड़े भाई की लाइफ में उसकी गर्ल फ्रेंड या फिर फियांसे आ जाती है तो छोटे भाई को इन्सिक्योरिटी फील होने लगती है. यह लाजिमी भी है क्योंकि नए रिश्तों की गर्माहट होती ही कुछ ऐसी है कि इसके आगे हर रिश्ते ठंडे पड़ने लगते हैं. इस बात को न भूलें कि नए रिश्तों में आप तभी इंज्वॉय करेंगे जब पुराने रिश्तों को साथ लेकर चलेंगे. फैमिली को ये नहीं लगे कि एक नए रिश्ते की वजह से आप उन्हें पहले जैसा वक्त नहीं दे पाते.


यह सामग्री http://www.inext.co.in/epaper/default.aspx से ली हैं।
Always be my buddy relationship Always be my buddy relationship Reviewed by Brajmohan on 11:38 AM Rating: 5

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